बड़वानी। केन्द्रीय जेल बड़वानी में प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश /अध्यक्ष जिला आनंद कुमार तिवारी के मार्गदर्शन में बुधवार को जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, बड़वानी और जनसाहस के सहयोग से मानसिक स्वास्थ्य जागरूकता शिविर का आयोजित किया गया।
जिला विधिक सहायता अधिकारी दिलीप मुझाल्दा द्वारा महिला बंदियों को बंदियों के अधिकार, लीगल एड डिफेंस कांउसिल योजना, प्लीबारगेनिंग, अपील का अधिकार आदि जानकारी दी गई। साथ ही जन साहस से जिला समन्वयक रविन्द्र खाण्डेकर द्वारा जन साहस संस्था की जानकारी देते हुए बच्चों एवं महिलाओं के साथ होने वाली लैंगिक हिंसा की रोकथाम पर जानकारी दी गई ।हम लोग कैसे अपने बच्चों को सुरक्षित रख सकते है साथ ही महिला ओर बच्चों के लिए संविधान के अधिकार हेतु जागरूक किया गया।शिविर में जनसाहस के प्रोफेशनल काउंसलर उर्मिला कानडे द्वारा अगल-अलग गतिविधियों के माध्यम से मानसिक स्वास्थ्य क्या है, मानसिक स्वास्थ्य पर परिणाम करने वाले घटक कौन कौन से है, मानसिक स्वास्थ्य समस्याये कैसे पहचाने, मानसिक स्वास्थ्य को समझना क्यो जरूरी है और मानसिक स्वास्थ्य समस्याओं का हमारे जीवन के हर एक पहलु पर असर होता है जैसे कि निर्णय लेना, शारीरिक स्वास्थ्य अपनो के साथ रिश्ते, काम करने में दिक्कते आना, सोच, भावनाओं को महसूस करने लगी तरीका दिनचर्या हमारे आसपास किसी को मानसिक स्वास्थ्य संबंधी परेशानी दिखी तो हम खुद कुछ मानसिक स्वास्थ्य संबंधी परेशानियों से जूझ रहे है या महसूस कर रहे है तो हम खुद का ख्याल कैसे रख सकते है इसके बारे में जानकारी दी उसके साथ ही अगर खुद की देखभाल करके भी मानसिक स्वास्थ्य संबधित गई। परेशान कम नहीं हो रही है तो उन्हे कहा से मदद लेना चाहिये इसक बारे में भी जानकारी दी।
इस शिविर में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के सचिव मानवेन्द्र पवार, जेल अधीक्षक शैफाली तिवारी, सहायक जेल अधीक्षक विनय काबरा, कुसुमलता डावर, जेल स्टाफ, जनसाहस संस्था से रविंद्र खांडेकर रिंकु चौहान, रविंद्र राठौड़ आदि उपस्थित रहे।