सेगांव। नगर में शुक्रवार को साप्ताहिक हाट बाजार लगता है। लेकिन ग्राम पंचायत की लापरवाही के चलते हाट बाजार में कूड़े व गंदगी के बीच दुकाने लगाने को व्यापारी मजबूर है।
दरअसल पूरा मामला यह है कि जहां देश में एक ओर स्वच्छता अभियान चलाया जा रहा है, जिसमे देश के दिग्गज नेता इस अभियान का हिस्सा बन रहे है। वहीं दूसरी ओर नगर के गोलवाड़ी रोड पर स्थित साप्ताहिक हाट बाजार साफ सफाई की दुहाई मांग रहा है। शुक्रवार को बाजार लगने के बाद साफ सफाई नहीं होने से ग्रामीणों को कई तरह की परेशानियों का सामना करना पड़ता है। यहां की दुर्दशा देख अंदाजा लगाया जा सकता है कि यहां केवल कागजों पर स्वच्छता मिशन पूरा किया जा रहा है। यहां के हाट बाजार में लगभग 50 गांवों के लोग ख़रीदी करने आते है। लेकिन हाट बाजार में गंदगी का अंबार लगा रहता है।
ग्रामीणों ने बताया कि शुक्रवार को साप्ताहिक हाट बाजार लगता है। यहां पर कूड़ा कचरा 8 दिन तक पढ़ा रहता है। गुरुवार की रात्रि में साफ सफाई के नाम पर झाड़ू लगाकर कचरे का ढेर लगा दिया जाता है। बड़ी मात्रा में कचरा एकत्रित होता हैं जो सप्ताह भर इधर उधर उड़ता रहता है। सड़े-गले फल सब्जियां मवेशी खाते रहते हैं। ग्रामीण श्याम गुप्ता व राजा गुप्ता ने बताया कि गंदगी से क्षेत्र में मौसमी बीमारियां होने का खतरा बना रहता है। बारिश के सीजन में यहां स्थिति और ज्यादा खराब हो जाती है। गंदगी के कारण यहां से गुजरने वाले लोगों को दुर्गंध का सामना करना पड़ता है। बाजार के पास सुलभ शौचालय भी है जिसका अभी तक लोकार्पण नहीं होने से बंद ताला लगाकर रखा है। सफाई नहीं होने से पूरे एरिया को प्रदूषित कर रहा है। वही गोलवाड़ी रोड पर स्थित प्रसिद्ध नीम वाले भीलटदेव मंदिर में आने वाले श्रद्धालुओं को भी परेशानियों का सामना करना पड़ता है।
मिली जानकारी के अनुसार वर्तमान में हाट बाजार का ठेका ग्राम पंचायत ने गांव के ही सुरेश यादव को 12 महीने के लिए नीलामी में 2 लाख 61 हजार में दिया है। हॉट बाजार में दुकान लगाने वाले व्यापारियों से प्रति दुकान के हिसाब से निर्धारित शुल्क भी लिया जाता है। नियम के अनुसार यहां सफाई की पूरी जवाबदारी ग्राम पंचायत की ही है। लेकिन ग्राम पंचायत का इस ओर कोई ध्यान नहीं है। व्यापारियों व दुकानदारों का कहना है कि हाट बाजार में साफ-सफाई व पीने के पानी के लिए कई बार ग्राम पंचायत सरपंच को अवगत कराया लेकिन कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा है। सभी व्यापारियों को गंदगी के आसपास दुकान लगाकर सामान बेचना पड़ रहा है। व्यापारियों व ग्रामीणों ने जिम्मेदारों पर अनदेखी व भ्रष्टाचार के आरोप भी लगाए हैं।