रतलाम। भाई-बहन के अटूट प्रेम का प्रतीक रक्षाबंधन पर्व रतलाम में हर्षाेल्लास और पारंपरिक उत्साह के साथ मनाया गया। बहनों ने भाइयों की कलाई पर राखी बांधकर उनकी लंबी उम्र और सुख-समृद्धि की कामना की, वहीं भाइयों ने उन्हें उपहार देकर उनकी रक्षा का वचन निभाया।
पर्व के अवसर पर पूरे शहर में उत्सव का माहौल दिखाई दिया। बाजारों में चहल-पहल रही और राखियों की दुकानें आकर्षण का केंद्र बनी रहीं। इस बीच, भरावाकुईं क्षेत्र में रहने वाले 98 वर्षीय वर्धमान मूणत का परिवार रक्षाबंधन के अवसर पर विशेष चर्चा का विषय बना। मूणत परिवार की खास बात यह रही कि पांच पीढ़ियों के करीब 70 सदस्य एक साथ रक्षाबंधन का पर्व मनाने के लिए एकत्र हुए।
कई पीढ़ियों ने एक साथ मनाया त्योहार
वर्धमान मूणत के सबसे बड़े बेटे अनोखीलाल मूणत ने बताया कि उनके पिताजी परिवार के सबसे बुजुर्ग सदस्य हैं और उन्होंने जीवन भर पूरे परिवार को एक सूत्र में बांधकर रखा है। परिवार में पांच भाई और दो बहनें हैं, वहीं वर्धमान मूणत के चार भाई और छह बहनें भी हैं। इस तरह पूरे परिवार में कई पीढ़ियां एक साथ मिलकर हर त्योहार पारंपरिक तरीके से मनाती हैं।अनोखीलाल ने बताया कि पिताजी ने अपने जीवन में हमेशा इस बात पर ज़ोर दिया कि परिवार में प्रेम और एकता बनी रहे। उन्होंने परिवार को मेहनत से सींचा है। उनका मानना है कि सामूहिक जीवन में जो आनंद है, वह एकाकी जीवन में नहीं मिलता। 98 साल की उम्र में भी वे पूरे परिवार को एकजुट रखने का प्रयास करते हैं और हर पर्व को पूरे उत्साह से मनाते हैं।
पुलिस रही मुस्तैद, बाजारों में रौनक
रक्षाबंधन पर्व के मद्देनजर पुलिस प्रशासन भी सतर्क रहा। भीड़भाड़ वाले इलाकों में सुरक्षा व्यवस्था बढ़ाई गई। शहर में राखियों की दुकानें जन्माष्टमी तक सजी रहेंगी, क्योंकि कई घरों में रक्षाबंधन का उत्सव जन्माष्टमी तक चलता है। बाजारों में अब भी पर्व की रौनक बनी हुई है।