चित्तौड़गढ़। भारत सरकार के युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्रालय की इकाई नेहरू युवा केंद्र चित्तौड़गढ़ की तरफ से सावा के महात्मा गांधी राजकीय विद्यालय में कैरियर मार्गदर्शन कार्यशाला का आयोजन किया गया।
कार्यक्रम के मुख्य वक्ता न्यू सीकर एकेडमी के संचालक एवं केरियर काउंसलर डॉ. प्रहलाद शर्मा ने बताया कि किसी भी विद्यार्थी के कैरियर की शुरुआत दसवीं कक्षा के बाद प्रारंभ होती है, उसी के आधार पर संपूर्ण जीवन का निर्माण होता है तथा दसवीं के बाद अपनी रूचि और क्षमता के अनुसार विद्यार्थियों को साइंस आर्ट्स और कॉमर्स किसी भी स्ट्रीम में प्रवेश लेकर लगातार विश्लेषणात्मक तरीके से अध्ययन करते हुए प्रतियोगी परीक्षाओं में सफलता प्राप्त की जा सकती है। विज्ञान विषय का महत्वपूर्ण योगदान चिकित्सा एवं इंजीनियरिंग क्षेत्र में डॉक्टर तथा इंजीनियर बनकर समाज की सेवा की जा सकती है। साथ ही प्रशासनिक सेवाओं में जाने के लिए किसी भी संकाय के द्वारा राजस्थान प्रशासनिक सेवा एवं भारतीय प्रशासनिक सेवा में किसी भी प्रकार का पद प्राप्त किया जा सकता है, लेकिन उसकी सारी पढ़ाई कक्षा 11वीं से आरंभ करने पर ही सही समय पर सही और उचित लक्ष्य की प्राप्ति होती हैप् वर्तमान समय में परीक्षाओं में होने वाली नेगेटिव मार्किंग तथा विश्लेषणात्मक अध्ययन अपेक्षित होता है तथा इन समस्त बिंदुओं का ध्यान रख कर के इन परीक्षाओं में उच्च स्थान हासिल किया जा सकता है तथा कॉमर्स लेकर के बैंकिंग सेक्टर के साथ-साथ लेखा सेवा की समस्त परीक्षाएं एवं सेवाएं विद्यार्थी प्राप्त कर सकता है। प्रतियोगी परीक्षाओं में वस्तुनिष्ठ प्रकार के प्रश्नों की तैयारी के साथ-साथ मुख्य परीक्षा हेतु व्याख्यात्मक प्रश्नों की तैयारी हेतु व्यापक विषय ज्ञान विद्यार्थियों को होना अनिवार्यत हैं। सुनियोजित तरीके से पढ़ाई करके किसी भी प्रकार की परीक्षा में सफलता निश्चित रूप से प्राप्त की जा सकती है और श्रेष्ठ कैरियर का निर्माण किया जा सकता है।
मुख्य अतिथि के रूप में पूर्व अतिरिक्त जिला शिक्षा अधिकारी मिट्ठू लाल रेबारी ने बताया कि हिंदी और अंग्रेजी दोनों ही भाषाओं पर पकड़ मजबूत होनी चाहिए क्योंकि भाषा ही व्यक्ति के समस्त ज्ञान के संप्रेषण का एक माध्यम होता है। विषय का चयन किसी अन्य की नकल करके नहीं किया जाता बल्कि खुद के सपनों को पूरा करने के लिए विद्यार्थियों को विषय चयन करना चाहिए।
विशिष्ट अतिथि के रूप में योगेश जानी पूर्व जिला शिक्षा अधिकारी ने बताया कि विकट परिस्थितियां भी विद्यार्थी के कैरियर निर्माण में बाधक नहीं हो सकती क्योंकि यदि विद्यार्थी अपने आप में दृढ़ निश्चय करके योजनाबद्ध तरीके से यदि कार्य करता है तो जीवन क्षेत्र की किसी भी क्षेत्र की पढ़ाई हो उसमें सफलता निश्चित रूप से प्राप्त होती है।
कार्यक्रम के अंत में विद्यालय की प्रिंसिपल आशा तनेजा ने आभार व्यक्त किया। इसी क्रम में नेहरू युवा केंद्र के लेखाकार कुलदीप प्रजापत ने सभी को धन्यवाद ज्ञापित किया तथा कार्यक्रम का संचालन विद्यालय के प्राध्यापक अनिल कुमार दक ने किया।