खरगोन। प्रदेश सरकार की स्थानांतरण नीति लागू होने के बाद हुए विभागीय तबादलों पर सवाल उठ रहे है। ज्यादातर शिकवे- शिकायत शिक्षा विभाग में किए जा रहे है, जहां मृत शिक्षकों के ट्रांसफर और बंद हो चुकी स्कूलों में भी नियुक्तियां किए जाने के आरोप लग रहे है। मंगलवार को कांग्रेस ने इसे मुद्दा बनाते हुए स्थानांतरण नीति के नाम पर अवैध वसूली के गंभीर आरोप लगाए है।
जिला कांग्रेस कमेटी के बैनर तले गौरीधाम में प्रेसवार्ता आयोजित कर जिलाध्यक्ष रवि नाईक ने बताया कि उन्होंने दस्तावेज इकट्ठा किए है, जिसमें नियमों के विरुद्व परविक्षा अवधि में पहले शिक्षकों के स्थानांतरण कर दिए और बाद में निरस्त कर दिये। नाईक ने आरोप लगाया कि जनजातीय कार्य विभाग में जिस तरह नियमों के खिलाफ शिक्षकों के स्थानांतरण किये गए, उससे साफ पता चलता है कि अधिकारीयों को किसी का खौफ नहीं है और उन्हें सरकार में बैठे विधायकों, मंत्रियों का संरक्षण प्राप्त हैं। कांग्रेस ने मांग है कि नियमों के विरुद्व जनजातीय कार्य विभाग द्वारा जारी स्थानांतरण आदेश निरस्त हो, पुरे मामले कि उच्चस्तरीय जांच हो तथा जिम्मेदार लोगों पर सख्त कार्यवाही की जाय।