BREAKING NEWS
मोरवन बांध लबालब भरने के बाद छलका, किसानों.. <<     KHABAR : श्री सीताराम जाजू शासकीय कन्या.. <<     KHABAR : सरपंच पति पर किसान की फसल नष्ट करने का.. <<     वॉइस ऑफ़ एमपी न्यूज़ चैनल में विज्ञापन देने के.. <<     KHABAR : जिला कांग्रेस अध्यक्ष महेंद्र सिंह.. <<     KHABAR : कांग्रेस नेताओं ने संगठन सृजन अभियान को.. <<     मंदसौर कॉलेज का सराहनीय प्रयास, लागू हुए नए.. <<     BIG NEWS : एमपी में बंदियों को सजा में 60 दिन की छूट,.. <<     वॉइस ऑफ़ एमपी न्यूज़ चैनल में विज्ञापन देने के.. <<     BIG NEWS : नीमच जिले का मोरवन डैम लबालब, वेस्टवेयर.. <<     BIG NEWS : नीमच जिले में भयानक सड़क हादसा,.. <<     अशोकनगर जिले के मुंगावली तहसील में प्राइवेट.. <<     BIG NEWS : बीजेपी महिला मोर्चा का पीसीसी के सामने.. <<     वॉइस ऑफ़ एमपी न्यूज़ चैनल में विज्ञापन देने के.. <<     KHABAR : मुंगावली तहसील में प्राइवेट स्कूल की.. <<     BIG NEWS : एमपी में कांग्रेस को फिर लगा झटका, 280 लोगों.. <<     KHABAR : बिन्जाना ईंट भट्टी क्षेत्र में युवती पर.. <<     KHABAR : मनासा में आवारा कुत्तों का आतंक,.. <<     वॉइस ऑफ़ एमपी न्यूज़ चैनल में विज्ञापन देने के.. <<     KHABAR : वाहन चालकों से टोल बूथ पर गुंडागर्दी,.. <<    
वॉइस ऑफ़ एमपी न्यूज़ चैनल में विज्ञापन के लिए..
July 19, 2025, 12:33 pm
KHABAR : ममलेश्वर मंदिर में सरकारी दानपेटी रखने पर बवाल, आदिवासी पुजारियों में नाराजगी, विकास के नाम पर परंपरा को कुचलने की तैयारी, महिलाओं ने जताया विरोध, पढे़ खबर

Share On:-

ओंकारेश्वर। मध्यप्रदेश के खंडवा जिले में सदियों पुरानी परंपरा के केंद्र ममलेश्वर ज्योतिर्लिंग मंदिर में दानपेटी रखने पर विवाद की स्थिति बन गई है। प्रशासनिक अधिकारियों ने मंदिर परिसर में ममलेश्वर मंदिर प्रबंध समिति के नाम से दानपेटी स्थापित कर दी है। इस निर्णय से वर्षों से मंदिर की पूजा-अर्चना और देखरेख कर रहे आदिवासी पुजारी समुदाय में भारी आक्रोश है। नायब तहसीलदार उदय मंडलोई ममलेश्वर मंदिर पहुंचे और प्रशासनिक रूप से सील की गई दानपेटी को मंदिर परिसर में स्थापित कराया है।


हमारी आस्था और परंपरा के विरुद्ध
दुलेसिंह दरबार, मंदिर व्यवस्थापक ने कार्यवाही का विरोध करते हुए कहा कि हमारे पूर्वज सदियों से इस मंदिर में पूजा करते आ रहे हैं। दान से प्राप्त राशि का उपयोग भी हमारे समाज के हित के लिए होता रहा है। बिना सूचना और चर्चा के दानपेटी रखना न केवल हमारी आस्था बल्कि परंपरा के विरुद्ध है।


मंदिर पुरातत्व विभाग के अधीन
ममलेश्वर मंदिर, ओंकारेश्वर ज्योतिर्लिंग मंदिर के समक्ष नर्मदा के उत्तर तट पर स्थित है। मंदिर की संरचना भारतीय पुरातत्व विभाग के संरक्षण में है, किंतु पूजा-पाठ और व्यवस्थाएं स्थानीय आदिवासी पुजारियों द्वारा की जाती हैं। देवी अहिल्याबाई होलकर के काल में भी इस मंदिर में पूजा का विशेष महत्व रहा है।


संघर्ष की स्थिति हो सकती है उत्पन्न
प्रशासनिक सूत्रों का मानना है कि यह कदम भविष्य में ममलेश्वर कॉरिडोर निर्माण की दिशा में पहला चरण हो सकता है। वर्तमान में ओंकारेश्वर में निर्माणाधीन कॉरिडोर की तर्ज पर, ममलेश्वर मंदिर को भी विकसित करने की योजना है। हालांकि, स्थानीय समाज का कहना है कि विकास के नाम पर यदि परंपराओं को कुचला गया, तो संघर्ष की स्थिति उत्पन्न हो सकती है।

VOICE OF MP
एडिटर की चुनी हुई ख़बरें आपके लिए
SUBSCRIBE