इंदौर। शनिश्चरी अमावस्या पर शनिवार को इंदौर शहर के शनि मंदिरों में सुबह से भक्तों की भीड़ है। लोग तेल-तिल चढ़ाकर न्याय के देवता भगवान शनि का आशीर्वाद ले रहे हैं। इस मौके पर मंदिरों की सुंदर सजावट की गई है। वहीं भगवान का भी विशेष श्रृंगार किया गया है। जवाहर मार्ग स्थित करीब 300 साल पुराने श्री शनि मंदिर में शनिदेव को चांदी के चरण चिह्न भेंट कर 101 प्रकार के भोग अर्पित किए जाएंगे।
प्राचीन शनि मंदिर के पुजारी व ज्योतिषाचार्य पं.बाबूलाल जोशी व पं.कान्हा जोशी ने बताया कि शनि अमावस्या पर शनिदेव को शृंगार में चांदी के चरण चिह्न भेंट व 101 प्रकार के भोग अर्पित किए जाएंगे। उन्होंने बताया कि शनिदेव को तेल, सिंदूर, सोने व चांदी के वर्क, चमक, पोशाक से शृंगार किया जाता है। शनिदेव कलयुग के सर्वोच्च न्यायाधीश, दंडाधिकारी व कर्म फलदाता हैं, जो प्रत्येक व्यक्ति को उसके कर्म अनुसार दंड व फल प्रदान करते हैं और संपूर्ण वैभव देने वाले देवता हैं। शनिदेव नव ग्रहों में सबसे सुंदर, नीले व काला वर्ण लिए हुए आकाश मंडल में सुशोभित हैं।
गजासीन शनि धाम में होगी खप्पर महाआरती
उषा नगर एक्सटेंशन स्थित गजासीन शनि धाम पर शनि अमावस्या पर विशेष खप्पर महाआरती होगी। यहां दादू महाराज के सान्निध्य में शनि देव का ताप्ती नदी के पवित्र जल से अभिषेक होगा। अभिषेक के बाद अपराजिता के नीले फूलों से शनिदेव का शृंगार किया जाएगा। रात 8.30 पर सामूहिक शनि चालीसा पाठ और शनि मंत्रों का जाप के बाद खप्पर महाआरती होगी। इसके बाद प्रसाद वितरण ही किया जाएगा।
शनिदेव का होगा विशेष शृंगार, लगेगा 56 भोग
जूनी इंदौर स्थित शनि मंदिर में पुष्प सज्जा की गई। मंदिर में सुंदर सजावट हुई है। सुबह 108 बटुकों ने शनि महामृत्युजंय स्त्रोत पाठ किया। 21 जोड़ों द्वारा शनि शांति महायज्ञ किया जा रहा है। रात 8 बजे शनिदेव की महाआरती की जाएगी।