बागली। जैन तीर्थ शिवपुर के स्थापक आचार्य देव श्री वीररत्न सुरीश्वरजी महाराज का शुक्रवार को इंदौर में देवलोक गमन हो गया। जिनकी पालकी शनिवार सुबह चापडा में निकाली गई। चापड़ा में जैन समाज सहित सभी नगर वासियों ने आचार्य के अंतिम दर्शन किए आचार्य का जन्म 28 फरवरी 1952 में उत्तम कुमार के रूप में पिंडवाड़ा जिला सिरोही राजस्थान में हुआ था। उन्होंने सिर्फ 11 वर्ष की आयु में ही ग्रस्त जीवन का परित्याग कर दिया था। स्वयं का मार्ग स्वीकार कर मुनि श्री वीररत्न विजय जी बने थे। 71 वर्ष के संयम साधना काल में 45 वर्षों से लगातार मालवा भूमि के भ्रमण किया। 5 फरवरी 2023 में अनुराग चार्य का आचार्य पद समारोह कार्यक्रम आयोजित किया गया था। इस दौरान वीररत्न विजय जी महाराज को आचार्य पदवी मिली थी, और वह आचार्य वीररत्न सुरीश्वरजी महाराज कहलाने लगे थै। बागली तहसील के जैन तीर्थ शिवपुर में आचार्य का अंतिम संस्कार संबंधित कराने की प्रक्रिया करने के पश्चात व पंचतत्व में विलीन हो गए। इस दौरान क्षेत्र सहित अन्य राज्यों से भी बड़ी संख्या में समाज जन सम्मिलित हुए।