नीमच। सकल जैन समाज नीमच द्वारा विशाल महारैली के पश्चात फोर ज़ीरो भारत माता चौराहे पर जिला कलेक्टर के नाम एसडीएम ममता खेड़े को ज्ञापन सौंपा गया।
ज्ञापन में मांग की गई कि जैन तीर्थंकरों और अनंत संतों की मोक्ष स्थली श्री सम्मेद शिखरजी पारसनाथ पर्वत राज गिरिडीह की स्वतंत्र पहचान पवित्रता और संरक्षण हेतु सम्मेद शिखरजी को जोनल मास्टर प्लान व पर्यटन मास्टर प्लान सूची से बाहर किया जाए।
पारसनाथ पर्वतराज को बिना जैन समाज की सहमति के इको सेंसेटिव जोन के अंतर्गत वन्य जीव अभयारण्य का एक भाग और तीर्थ माना जाता है, तीर्थराज की स्वतंत्रत पहचान व पवित्रता नष्ट करने वाली इस अधिसूचना को अविलंब रद्द किया जाए। पारसनाथ पर्वतराज और मधुबन को मांस मदिरा की बिक्री मुक्त पवित्र जैन तीर्थ स्थल घोषित किया जाए। पर्वतराज से पेड़ों का अवैध कटान, पत्थरों का अवैध खनन और महुआ के लिए आग लगाना प्रतिबंधित हो। इस प्रकार की 6 सूत्री मांगों का ज्ञापन सकल जैन समाज द्वारा सौंपकर मांग की गई की राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री एवं झारखंड के मुख्यमंत्री तुरंत इस संबंध में आवश्यक कार्यवाई करें।
इस अवसर पर अनिल नागौरी, अजीत कुमार बम, विजय विनायका, सुभाष बाफना, शौकीन मुणत, अजीत चौधरी, उमराव सिंह राठौड़, प्रेम प्रकाश जैन, मनीष कोठारी, मनोहर सिंह लोढ़ा, प्रमोद गोधा, जम्बू कुमार जैन, अखे सिंह कोठारी, उत्तम डोसी, सुनील लाला बम, विमल गोयल, राहुल जैन, सुरेश चेलावत, संगीता जारोली, चेतना लालका, रितु लोढ़ा, सरोज चौधरी, आशा लोढ़ा, स्वाति चौपड़ा, संतोष चौपड़ा, तरुण बाहेती, रघुराज सिंह चौरड़िया, राकेश पप्पू जैन एवं जैन समाज के वरिष्ठजन मौजूद रहे।
सकल जैन समाज के इस विरोध को बड़ी संख्या में सभी राजनीतिक दलों का समर्थन मिला। साथ ही करणी सेना, अग्रवाल समाज के साथ विभिन्न समाज, सांसद सुधीर गुप्ता के प्रतिनिधि, विधायक दिलीप सिंह परिहार के प्रतिनिधि, कांग्रेस नेता उमराव सिंह गुर्जर, महेश वीरवाल एवं गणमान्य नागरिक मौजूद रहे।